कोरोना सघन सामुदायिक सर्वे अभियान के तहत 05 अक्टूबर से 11 अक्टूबर 2020 तक होगा घर-घर सर्वे 

लक्षण वाले मरीजों की पहचान की जायेगी
गरियाबंद 03 अक्टूबर 2020/ स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोरोना के प्रारंभिक लक्षण और उच्च जोखिम वाले मरीजों की पहचान कर उनका उपचार करने के लिए कोरोना सघन सामुदायिक सर्वे अभियान चलाया जा रहा है। अभियान के प्रथम चरण में स्वास्थ्य और उनसे जुड़े अमलों की प्रशिक्षण की गतिविधि आयोजित किया जा रहा है। कलेक्टर श्री छतर सिंह डेहरे के मार्गदर्शन में जिले के ब्लाॅक और सेक्टर स्तर पर यह प्रशिक्षण आज आयोजित किया गया। शुक्रवार को वीडियो काॅन्फ्रेसिंग के माध्यम से जिला स्तरीय प्रशिक्षण भी सम्पन्न हुआ, जिसमें जिला पंचायत सीईओ श्री विनय लंगेह, सहायक नोडल अधिकारी श्रीमती ऋषा ठाकुर, सीएमएचओ जी.एल. टण्डन एवं सभी बीएमओ मौजूद थे। आज सभी विकासखण्ड मुख्यालय एवं सेक्टर में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, ग्राम सचिव एवं स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं का प्रशिक्षण आयोजित किया गया।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि जिले के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में घर-घर भ्रमण कर ’’कोरोना सघन सामुदायिक अभियान‘‘ 05 अक्टूबर से 11 अक्टूबर 2020 तक कोविड-19 के प्रारंभिक लक्षण वाले व्यक्तियों की पहचान की जायेगी। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य कोविड-19 संक्रमण के प्रसार श्रृंखला को तोड़ने हेतु समुदाय स्तर पर लक्षणात्मक मरीजों की त्वरित पहचान कर उनका त्वरित उपचार किये जाने के साथ-साथ मरीजों के आईसोलेशन के माध्यम से आईसोलेट किया जाना है। निम्न लक्षण वाले व्यक्तियों को लक्षणात्मक/संदिग्ध मरीज जैसे -बुखार, खांसी, सांस लेने में तकलीफ, शरीर में दर्द, स्वाद या सुंघने की क्षमता में कमी, गले में खरास, बंद या बहती नांक, उल्टी या दस्त आना, लक्षण वाले मरीजों का नाम एवं विवरण दर्ज किया जायेगा।
कोविड-19 सघन सामुदायिक सर्वे अभियान क्षेत्र की मितानीन, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता/सहायिका, बहुउद्देशीय स्वास्थ्य कार्यकर्ता, सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी, शिक्षक, पंचायत एवं ग्रामीण/नगरीय निकाय विभाग के मैदानी अमले के द्वारा गरियाबंद जिले के समस्त परिवारों का शत् प्रतिशत् कवरेज सुनिश्चित किया जायेगा। अभियान सप्ताह के दौरान क्षेत्रवार गठित दल प्रत्येक घर का भ्रमण कर परिवार के केवल लक्षणात्मक व्यक्यिों की जानकारी संग्रहित करेगें। उक्त सूची के आधार पर लक्षणात्मक व्यक्तियों की जांच की व्यवस्था निकट के स्वास्थ्य केन्द्रों में रैपिड ऐन्टीजन जांच की जायेगी। जांच हेतु व्यक्तियों की अधिक संख्या होने पर प्राथकिता के आधार पर उच्च जोखिम समूह- उम्र 60 वर्ष से अधिक, गर्भवती महिला, 05 वर्ष से कम आयु के बच्चे, उच्च रक्तचाप, डायबिटीज, कैंसर, किडनी रोग से ग्रसित व्यक्ति, टी.बी. रोग, सिकल सेल, एड्स की पहले जांच करायी जायेगी। कलेक्टर श्री डेहरे द्वारा जन समुदाय से सर्वे के दौरान आवश्यक सहयोग प्रदान करने अपील किया गया है।