बस्तर की छवि पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करने के कलेक्टर ने दिए निर्देश

इको-टूरिज्म को बढ़ाने के लिए बैठक


जगदलपुर :- बस्तर की छवि नक्सलगढ़ से पर्यटन के प्रमुख केंद्र के रूप में विकसित कर नए इको-टूरिज्म के अवसर बढ़ाने के आवश्यकता है। इको पर्यटन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की प्राथमिकताओं शामिल है। बस्तर में इको-टूरिज्म को बढ़ावा देकर महिलाओं स्व-सहायता समूह और ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर उपलब्ध कराना है।

उक्त बातें कलेक्टर रजत बंसल ने इको-टूरिज्म को बढ़ावा देने एवं टुरिज्म क्षेत्र की व्यवस्था बनाने के संबंध में बैठक लेकर कही।

बैठक में कलेक्टर कार्यालय के प्रेरणा हॉल में आहूत की गई जिसमें जिला पंचायत सीईओ इंद्रजीत चंद्रवाल, वनमंडालाधिकारी स्टायलो मंडावी समस्त अनुविभागीय अधिकारी राजस्व, सभी जनपद सीईओ सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

मुख्य कार्यपालन अधिकारी चंद्रवाल ने सभी एसडीएम और सीईओ जनपद पंचायत से पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए किए गए कार्यो की समीक्षा की और पर्यटन से होने वाली आमदनी की राशि के विभाजन के संबंध में विस्तृत चर्चा कर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।

बैठक में कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान नेशनल पार्क में एवं अन्य आरक्षित वन क्षेत्र, ट्रैकिंग स्थान का अनुमोदन एवं वन विभाग एवं पर्यटन समिति के बीच समन्वय, होम स्टे संचालित करने वाले समूह के व्यक्ति का चिन्हांकन एवं सत्यापन, गाईड के कार्य करने वाले व्यक्ति का चिन्हाकन, पर्यटन क्षेत्र में स्थानीय खाद्य सामग्री के विक्रय की व्यवस्था सुनिश्चित करना, पर्यटकों के संख्या के आधार पर पर्यटन स्थल के वर्गीकरण पर चर्चा किया गया।

इसके अलावा पर्यटन समिति द्वारा समूह के कार्य विभाजन का सत्यापन, पर्यटन क्षेत्र को प्लास्टिक मुक्त करने, पर्यटन क्षेत्र में स्वीकृत निर्माण कार्य की प्रगति की जानकारी, एडवेंचर स्पोटर्स तैयारी की जानकारी।

आगामी माह में सायकल इवेन्टर्स चित्रकोड, मेदरीगुमर, तामडागुमड, मिचनार से होते हुए तीरथगढ़ तक के ट्रेक रूट तैयारी। पर्यटन क्षेत्र में शूल्क निर्धारण का सूचना पटल लगाना, पर्यटकों की सुविधा के लिए सोवीनियर शॉप की स्थापना, वन विभाग एवं एनआरएलएम के माध्यम से टूरिज़्म गाईड का प्रशिक्षण की व्यवस्था के संबंध में चर्चा किया गया।